उत्तराखंड : , आपके बैंक खाते से ऑनलाइन धोखाधड़ी कर रुपये निकाल लिए जाते हैं तो अब परेशान होने की जरूरत नहीं है, अब नहीं डूबेगी रकम, बस आपको ये सब करना है ओर ये नम्बर महत्वपूर्ण है ..

उत्तराखंड : , आपके बैंक खाते से ऑनलाइन धोखाधड़ी कर रुपये निकाल लिए जाते हैं तो अब परेशान होने की जरूरत नहीं है, अब नहीं डूबेगी रकम, बस आपको ये सब करना है ओर ये नम्बर महत्वपूर्ण है ..

 

उत्तराखंड में साइबर अपराध पर नकेल कसने के लिए गृह मंत्रालय की ओर से नंबर जारी किया गया है। इसे उत्तराखंड की साइबर अपराध पुलिस ने सार्वजनिक कर दिया है।

जरा ध्यान से सुनिये यदि आपके बैंक खाते से ऑनलाइन धोखाधड़ी कर रुपये निकाल लिए जाते हैं तो अब परेशान होने की जरूरत नहीं है। पीड़ितों की मदद के लिए साइबर अपराध पुलिस ने हेल्पलाइन नंबर 155260 जारी कर दिया है। यह मोबाइल नंबर 24 घंटे काम करेगा। इस नंबर पर कॉल करते ही आपके खाते से ट्रांसफर किए गए रुपये जिस भी खाते में जाएंगे उसे तत्काल सीज कर दिया जाएगा। 
बता दे कि साइबर अपराध की बढ़ती घटनाएं वर्तमान में चिंता का विषय है। इस अपराध ने एसटीएफ और साइबर थाना पुलिस के माथे पर भी बल ला दिया है। अंतरराष्ट्रीय स्तर के साइबर अपराधी कभी बैंक अधिकारी तो कभी नामचीन कंपनियों के एजेंट बनकर गोपनीय जानकारी हासिल कर लेते हैं। जरा सी लापरवाही होने पर लोगों के खाते से रुपये निकाल लिए जाते हैं।
साइबर अपराध पर नकेल कसने के लिए गृह मंत्रालय की ओर से नंबर जारी किया गया है। इसे उत्तराखंड की साइबर अपराध पुलिस ने सार्वजनिक कर दिया है। 155260 नंबर पर कॉल करते ही साइबर ठग के खाते को सीज कर दिया जाएगा। इसके बाद खाते का ब्लैंक क्रॉस चेक लेकर पीड़ित को संबंधित रकम लौटा दी जाएगी

खाते से रुपये निकलते ही ये करें

इसके लिए तत्काल 155260 नंबर पर कॉल करनी होगी। कंट्रोल रूम में बैठे कर्मचारी आपको व्हाट्सएप नंबर देंगे। जिसमें अपना बैंक खाता नंबर (जिससे रुपये निकले) बताना होगा। नाम और पते के साथ जिले की जानकारी देनी होगी। उस संदिग्ध मोबाइल नंबर और बैंक खाते की जानकारी भी देनी होगी, जिससे कॉल आई और बैंक खाते में रुपये ट्रांसफर हुए। सभी जानकारी कंट्रोल रूम में पहुंचते ही साइबर ठग का खाता ब्लॉक कर दिया जाएगा। 

बैंक खाते से रुपये निकालने की शिकायतें अक्सर आती रहती हैं। जिन मामलों में ओटीपी पूछकर रकम निकाली जाती है, उसमें बैंक भी कुछ नहीं कर पाता। साइबर क्राइम के हेल्पलाइन नंबर पर पूरी जानकारी अपलोड होते ही संबंधित बैंक को अलर्ट मिल जाएगा। जिस खाते में रुपये गए हैं, बैंक उस खाते की निकासी पर तत्काल रोक लगा देगा। पीड़ित को रुपये निकलने के 24 घंटे के भीतर फ्रॉड करने वाले की जानकारी देनी होगी ये कहना है  पूर्णिमा गर्ग, साइबर सीओ, कुमाऊं का 

धन्यवाद

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