उच्च हिमालयी क्षेत्रों में स्थित गांव के लोग बोले मुख्यमंत्री जी धन्यवाद, वो देखो हवाई जहाज आ गया

 


उत्तराखण्ड की त्रिवेंद्र सरकार ने उच्च हिमालय के गांव मै क्षेत्रों मे रहने वालों को एक बड़ी राहत दी है बता दे कि मानसून काल में माइग्रेशन पर उच्च हिमालयी क्षेत्रों में स्थित गांवों के लोग काफी समस्याओं से घिरे रहते है जिसको देखते हुए त्रिवेन्द्र सरकार ने धारचूला की व्यास घाटी के लिए हेलीकॉप्टर सेवा को मंजूरी दी है
बता दे कि अब धारचूला से बूंदी और गुंजी तक हेलीकॉप्टर का किराया महज 3100 रुपये लिया जाएगा।
वही यदि को आपदा में फंस जाता है तो उन लोगो से कोई किराया नहीं लिया जाएगा। बता दे कि ये हेली सेवा लगभग 30 दिन तक संचालित रहेगी। अभी यानी मानसून काल में धारचूला के सैकड़ों परिवार व्यास, दारमा और चौदास घाटियों में स्थित मूल गांवों के लिए माइग्रेशन करते हैं। इस दौरान अतिवृष्टि से भूस्खलन के कारण मार्ग बंद होने, बीमार लोगों के उपचार की कोई सुविधा नहीं होने से तमाम परेशानियों से दो चार होना पड़ता है। त्रिवेंद्र सरकार ने इसी समस्या का रास्ता निकाल है बता दे कि कुछ दिन पहले
बूंदी निवासी व सामाजिक कार्यकर्ता महेंद्र सिंह बुदियाल मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत से मिले थे उनके साथ आये शिष्टमंडल ने हेलीकॉप्टर सेवा की मांग की थी।
जिस को मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत ने गम्भीरता से लेते हुए सीमांत क्षेत्रो के लोगों की मांग पर हेली सेवा की अनुमति दी है
ख़बर है कि कल यानी बृहस्पतिवार को हेलीकाप्टर पिथौरागढ़ पहुंच गया है।
ओर आज से तहसील प्रशासन की देख रेख मैं सेवाएं देगा
वही सीमांत क्षेत्रो के लोगों ने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को धन्यवाद बोला ।

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