
उत्तराखंड में आज से आम आदमी के जेब पर खर्च का बोझ बढ़ गया है बता दे कि प्रदेश सरकार ने वैट की दरों में संशोधन करते हुए नई दरें लागू करने की अधिसूचना जारी कर दी है। जिसके बाद प्रदेश में पेट्रोल 2.50 रुपये और डीजल एक रुपये प्रति लीटर महंगा हो चुका है
अब दाम बढ़ने से सरकार को पेट्रोल व डीजल पर लगने वाले वैट से सालाना करीब 150 करोड़ रुपये की आय होगी। वहीं पेट्रोलियम मूल्यों में बढ़ोत्तरी होने से माल भाड़ा और अन्य वस्तुओं के दामों पर खासा असर पड़ेगा।
प्रदेश सरकार ने पेट्रोल और डीजल पर दी जा रही छूट खत्म कर दी है। 10 जुलाई को मंत्रिमंडल की बैठक में छूट वापस लेने का फैसला लिया गया। इससे पहले अक्टूबर 2018 में पेट्रोल और डीजल के दामों में भारी बढ़ोतरी के चलते सरकार ने छूट देकर उपभोक्ताओं को राहत दी थी।
वही इससे पहले कल इन सभी मुद्दों को लेकर लोकसभा चुनाव में पाँचो सीट हारने के बाद उत्तराखंड कांग्रेस का कल त्रिवेंद्र सरकार की जनविरोधी नीतियों के खिलाफ धरना था इस पूरे कार्यक्रम मे एक तरफ प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह के समर्थक उनका शक्ति प्रदर्शन करते नज़र आये इस धरने में प्रीतम सिंह, हरीश रावत, इंदिरा हृदयेश, किशोर उपाध्याय, दिनेश अग्रवाल, मंत्री प्रसाद नैथानी सहित ही कांग्रेस के कई नेता मौजूद रहे इस दौरान कल भारी संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ता धरना स्थल पर पहुंचे और रैली निकालकर खूब प्रदर्शन भी किया। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह के नेतृत्व में कांग्रेस कार्यकर्ता कांग्रेस भवन में एकत्र हुए और जुलुस की शक्ल में घंटाघर होते हुए गांधी पार्क में पहुंचे और वहां पर धरने पर बैठकर नारेबाजी करने लगे।
वही कांग्रेस ने कल के धरना कार्यक्रम के लिए महंगाई, गैरसैंण, भ्रष्टाचार, कानून व्यवस्था जैसे कई मुद्दों को लिया है। प्रीतम सिंह ने कहा कि पेट्रोल डीजल के बढ़ते दाम, बढ़ती महंगाई, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार, पंचायत एक्ट में मनमानी, बिगड़ती कानून व्यवस्था जैसे अन्य मुद्दों को लेकर प्रदेशभर से कांग्रेस कार्यकर्ता गांधी पार्क में धरना दिया। तो वही पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि उत्तराखंड की बीजेपी सरकार हर मोर्चे पर विफल साबित हुई है। स्थाई राजधानी गैरसैंण की जमीन खरीदना और बेचने की खुली छूट दे दी है, जबकि कांग्रेस सरकार ने इस पर प्रतिबंध लगाने का काम किया था। इसी बीच सुबह 10 .30 बजे से इस धरने मैं शामिल होने आए हरीश रावत बीच धरने से उठ कर चले गए।जिसे उनकी नाराजगी का नाम उनके समर्थकों ने दिया
उनके समर्थकों ने हरीश रावत की उपेक्षा का आरोप लगाया है।
जबकि हरीश रावत ने इस धरने की सफलता के लिये कांग्रेस को बधाई दी और पेट की गड़बड़ी के कारण धरने से जाने कि बात कही। बता दे कि अभी हाल मै ही दो निकायों में शानदार जीत से उत्साहित कांग्रेस ने इस धरने के कार्यक्रम के लिए पूरी ताकत लगाई खुद प्रीतम सिंह इसकी तैयारियों के लिए मोर्चे पर डटे रहे। गैरसैंण में दो दिन पहले पूर्व सीएम हरीश रावत के शो के जवाब में प्रीतम का खेमा धरने के इस कार्यक्रम की जबरदस्त सफलता देखना चाहता था।
जिस तरह से कांग्रेस देशभर में अनिश्चितता से गुजर रही है। वही उत्तराखंड कांग्रेस ने कल बड़ा कार्यक्रम देकर यह संदेश देने की कोशिश की है कि वह अपने स्तर पर सक्रिय है। इस बीच, श्रीनगर और बाजपुर नगर पालिकाओं के अध्यक्ष पद पर कांग्रेस की जीत ने पार्टी को उत्साह के आसमान पर पहुंचा दिया है। तो उधर भाजपा ने काँग्रेसियो के इस धरने को सुपर फ्लाप करार दे दिया।उनके अनुसार ये पूरा धरना प्रीतम सिंह का शक्ति पर्दशन था ना कि कुछ और भाजपा ने कहा कि आपने देखा नही की प्रीतम सिंह जिंदाबाद के नारे एक तरफ ओर हरीश रावत ज़िंदाबाद के नारे लगाने वाले दो धड़ साफ दिखाई दे रहे थे।कुल मिलाकर काँग्रेसियो को पहले अपने घर मै लगी गुटबाज़ी की आग को ठंडा करना चाइए बाकी बाद कि बात जो कांग्रेस मैं हो सकता नही।